
पटना। राज्य सरकार ने शिक्षकों के जनवरी माह के वेतन के लिए 11.51 अरब रूपए जारी किये हैं केन्द्र सरकार द्वारा समग्र शिक्षा अभियान के तहत अपेक्षित राशि नहीं मिलने के बाद राज्य सरकार ने अपने खजाने से इनके लिए वेतन की राशि जारी की है। इस राशि से 2 लाख 64 हजार 620 शिक्षकों को जनवरी का वेतन भुगतान होगा। शिक्षा विभाग के अनुसार इस मद में केन्द्रांश की राशि कम मिली है। इसके तहत पंचायती राज संस्था, नगर निकायों के कार्यरत शिक्षक एवं उत्क्रमित मध्य विद्यालयों में जिला संवर्ग के स्नातक प्रशिक्षित वेतनमान के शिक्षकों एवं प्रधानाध्यापकों को वेतन का भुगतान होता है । शिक्षा विभाग के संयुक्त सचिव संजय कुमार के अनुसार वित्तीय वर्ष 2022-23 में समग्र शिक्षा अभियान योजना अंतर्गत कार्यरत शिक्षकों के वेतन आदि भुगतान के लिए केन्द्रांश की राशि कम उपलब्ध होने के कारण राज्य योजना मद से सहायक अनुदान मद . के रूप में कुल 139 अरब 41 करोड़ में से 11.51 अरब का भुगतान किया जा रहा है। उन्होंने इसकी जानकारी महालेखाकार को भी दी है
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लंबे समय से स्कूलों में जमे अनट्रेंड शिक्षकों का स्कूल से हटना तय
लहलादपुर। लंबे समय से स्कूलों में जमे अनट्रेंड शिक्षकों का स्कूल से हटना लगभग तय हो गया है। शिक्षा विभाग ने अनट्रेंड शिक्षकों को प्रशिक्षित होने के लिये कई मौके दिये थे लेकिन कई गुरुजी ट्रेनिंग में फेल हो गये या हिस्सा ही नहीं लिये।
लहलादपुर प्रखंड में उत्क्रमित मध्य विद्यालय दयालपुर हिंदी की शिक्षिका व मिडिल स्कूल हरपुरकोठी की शिक्षिका अनट्रेंड हैं। शिक्षा विभाग ने बीडीओ व बीईओ को पत्र लिख अनट्रेंड शिक्षकों को स्कूल से हटाने का आदेश दिया है। आदेश की कॉपी मिलने के बाद बीडीओ विमला कुमारी ने बीईओ से अनट्रेंड शिक्षकों के बारे में जानकारी मांगी है। बीडीओ ने बताया कि नियोजन इकाई की बैठक कर अनट्रेंड शिक्षकों पर कार्रवाई की जायेगी।
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परीक्षा में शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति से शिक्षण कार्य पर पड़ेगा असर
गडहनी 14 फरवरी से आयोजित माध्यमिक परीक्षा को लेकर प्रखण्ड के शिक्षको की प्रतिनियुक्ति वीक्षण कार्य मे कर दी गई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार लगभग गडहनी प्रखंड के सभी प्राथमिक मध्य माध्यमिक विद्यालयो के शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति माध्यमिक परीक्षा के वीक्षण कार्य में कर दी गई है। अब आलम यह है कि विद्यालय के प्रधानाध्यापक, प्रभारी प्रधानाध्यापक के अलावा बहुत कम शिक्षक बच रहे हैं जिसके कारण पठन-पाठन कार्य पर प्रतिकूल असर देखने को मिल सकता है। अभिभावको का कहना है कि वीक्षण कार्य को लेकर 10 फरवरी से ही शिक्षको को प्रतिनियुक्त कर दिया गया। इस तरह लगभग 12 दिनो तक शैक्षणिक कार्य प्रभावित रहेगा। इस क्रम में शिक्षा प्रेमी मुन्ना शर्मा ने बताया कि अगर इसी तरह शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति की जाती रही तो गुणवत्तापूर्ण शिक्षण की बात पूरी तरह बेतुकी होगी जो कि शिक्षण कार्य को पूरी तरह बाधित करती है। विदित हो कि आगामी महीने में ही विद्यालयो मे भी वार्षिक परीक्षा भी होने वाली है जबकि 24 फरवरी से ही नौवीं की वार्षिक परीक्षा भी आयोजित की गई है। ऐसे में बच्चों के भविष्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने के आसार दिख रहे है